Narendra Modi: अयोध्या (Ayodhya) में बन रहे भगवान रामलला (Ramlalaa) के बहुप्रतीक्षित राम मंदिर (Ram Mandir) की प्राण प्रतिष्ठा के महात्मय में अभिवृद्धि करने की दिशा में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी हर प्रयास कर रहे हैं। राम मंदिर की गरिमा, गौरव, महानता तथा महत्ता से वे देश के विभिन्न मंदिरों को भी डजोड़ रहे हैं। इसी प्रयास में प्रतिष्ठा से पहले शनिवार (20 जनवरी) को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Narendra Modi) दक्षिण भारत में तमिलनाडु दौरे पर रामेश्वरम (Rameshwaram) पहुंचे, जहां उन्होंने हिंद महासागर में पवित्र डुबकी लगाई, श्री रंगनाथस्वामी मंदिर (Sri Rangnathaswamy Temple) में रामायण का पाठ सुना, दर्शन किए एवं पूजा-अर्चना भी की। उन्होंने वहां अंदल नामक हाथी को गुड़ खिलाया और उससे आशीर्वाद लिया।
प्रधानमंत्री मोदी के इस दौरे की धार्मिकता से ओतप्रोत भावविभोर कर देनेवाली तस्वीरें देख कर लोग देग हैं। कोई कह रहा है कि ऐसा प्रधानमंत्री ‘न भूतो न भविष्यति…’, तो किसी का कहना है कि भारत को ऐसा ही प्रदानमंत्री चाहिए था। ये धार्मिक दृश्य प्रधानमंत्री मोदी की धर्मपारायण काे तो साक्षी हैं ही, साथ ही यह तथ्य भी है कि भारत में हिंदू धर्म के प्रखर रक्षक प्रधानमंत्री के रूप में भी वे स्थापित हो चुके हैं। आइए, देखते हैं प्रधानमंत्री की दर्शन, पूजा, अर्चना, आराधना, ध्यानमग्नता, तल्लीनता, पवित्र डुबकी एवं स्नान के वे दृश्य, जो आज तक किसी भी प्रधानमंत्री की ओर से भारत को देखने को नहीं मिले। पीएम मोदी की ये भावुक कर देने वाली भव्य तस्वीरें दुनिया के दिलों पर सदियों तक अंकित रहेंगी।
नरेंद्र मोदी तमिलनाडु के रंगनाथस्वामी मंदिर आने वाले पहले प्रधानमंत्री हैं। प्रधानमंत्री ने अपने अनुभवों को साझा करते हुए ‘एक्स’ पर एक पोस्ट में लिखा कि श्री रंगनाथस्वामी मंदिर में प्रार्थना करने का अवसर पाकर सम्मानित महसूस कर रहा हूं। इस मंदिर के साथ प्रभु श्रीराम का संबंध बहुत ही पुराना है। मैं उस भगवान का आशीर्वाद पाकर धन्य महसूस कर रहा हूं जिसकी पूजा प्रभु श्री राम भी करते थे।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने तमिलनाडु दौरे में हिंद महासागर के तट पर बसे अंगी तीर्थ पर समुद्र स्नान किया। समुद्र स्नान के दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी अपने हाथ में रुद्राक्ष की माला धारण किए हुए रहे और खास बात यह है कि उन्होंने सीधे प्राणायम मुद्रा में मुंह डुबकी लगाई, जबकि ज्यादातर लोग नाक में पानी जाने के डर से नाक भींचकर पानी में डुबकी लगाते हैं।
श्री रंगनाथस्वामी मंदिर में प्रधानमंत्री मोदी ने कंब रामायण की चौपाइयां सुनीं। उन्होंने लिखा है कि को इस मंदिर में यह रामायण की चौपाइयों को सुनना एक ऐसा अनुभव है, जिसे मैं जीवन भर संजोकर रखूंगा। यह वही मंदिर है जहां महान कंबन ने पहली बार सार्वजनिक रूप से अपनी रामायण प्रस्तुत की थी। यह तथ्य इसे और अधिक उल्लेखनीय बनाता है।
रंगनाथस्वामी मंदिर की ओर से प्रधानमंत्री मोदी को दक्षिण का पारंपरिक परिधान अंगवस्त्रम और कपड़े भेंट किए गए, जिन्हें वे अयोध्या में राम मंदिर ले जाएंगे जहां 22 जनवरी 2024 को रामलला के भव्य मंदिर की प्राण-प्रतिष्ठा होनी है। रंगनाथस्वामी मंदिर एक अत्यंत प्राचीन वैष्णव मंदिर है और यह संगम युग का है।
अयोध्या में बने भव्य राम मंदिर में रामलला की प्राण प्रतिष्ठा से पहले प्रधानमंत्री मोदी 11 दिनों के अनुष्ठान पर हैं, जहां उन्हें यजमान के रूप में शामिल होने के लिए यम नियमों के तहत वे दिन में सिर्फ 2 बार केवल नारियल पानी ही पी रहे हैं।इसके बावजूद वे सारे कार्य संपन्न करते हुए राम मंदिर की महत्ता के लिए मंदिरों तृके दर्शन, पूजा व परंपरा निभा रहे हैं।