Hindenburg: अमेरिकी रिसर्च एवं इन्वेस्टमेंट कंपनी हिंडनबर्ग की नई रिपोर्ट सामने आने के बाद देश की राजनीति में बवाल उठ गया है, लेकिन शेयर बाजार पर इस बार उसका कोई असर नहीं दिखा है। हालांकि राहुल गांधी (Rahul Gandhi) इस मुद्दे केंद्र सरकार पर बरस रहे हैं। बीजेपी के वरिष्ठ नेता गिरिराज सिंह राहुल गांधी को देश का दुश्मन बता रहे हैं। विपक्ष इस मामले पर जेपीसी की मांग कर रहा है। लेकिन अडाणी (Adani) के शेयर्स में किसी प्रकार के उतार को न देखकर कहा जा सकता है कि शेयर बाजार ने हिंडनबर्ग (Hindenburg) की रिपोर्ट को सिरे से खारिज कर दिया है। शेयर बाजार को जानकारों का कहना है कि हिंडनबर्ग रिसर्च कंपनी अमेरिका या किसी दूसरे देश में निवेश सलाहकार के तौर पर रजिस्टर्ड तक नहीं है, फिर भी वह आरोप लगा रही है, इसलिए उसकी बात को सच मानकर कोई पूरे नियामक तंत्र पर ही आरोप लगाएं, और सुप्रीम कोर्ट के फैसले पर सवाल उठाएं तो इसे कैसे जायज माना जा सकता है। पूर्व अटॉर्नी जनरल मुकुल रोहतगी ने शॉर्ट सेलर हिंडनबर्ग की रिपोर्ट को भारतीय अर्थव्यवस्था को अस्थिर करने की सुनियोजित साजिश बताया है।
राहुल गांधी की बातों को गलत बताया सेबी चीफ ने
लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी वैसे भी अडाणी और अंबानी को कटघरे में खड़ा करते हुए केंद्र सरकार पर वार करते रहे हैं, लेकिन हिंडनबर्ग की नई रिपोर्ट सामने आने के बाद राहुल कुछ ज्यादा ही आक्रामक हैं। राहुल ने केंद्र सरकार को निशाने पर लेते हुए कहा है कि भारतीय प्रतिभूति एवं विनिमय बोर्ड (सेबी) की अध्यक्ष के खिलाफ लगे आरोपों से साफ लग रहा है कि देश की इस महत्वपूर्ण संस्था की पारदर्शिता व शुचिता के साथ गंभीर खिलवाड़ हुआ है और उन्होंने उच्चतम न्यायालय से सवाल किया है कि क्या वह इस मामले पर फिर स्वत: संज्ञान लेगा? लेकिन हिंडनबर्ग की रिपोर्ट और राहुल गांधी की बातों का सेबी चेयरपर्सन और उनके पति धवल बुच ने एक बयान जारी करके खंडन किया है।
राहुल गांधी देश के दुश्मन, गिरिराज सिंह ने कहा
इस मुद्दे पर पत्रकारों से बातचीत करते हुए केंद्रीय मंत्री एवं बीजेपी के वरिष्ठ नेता गिरिराज सिंह ने कहा है कि राहुल गांधी शुरू से भ्रम फैलाते हैं और कोई देश का दुश्मन ही अफवाह फैलाएगा। उन्होंने कहा कि वे देश के दुश्मन हैं, कभी विदेश जाते हैं तो विदेश में झूठ फैलाते हैं, लेकिन अब देश के अंदर फैला रहे हैं। उन्होंने आगे कहा कि राहुल गांधी और जयराम रमेश देश को बदनाम कर रहे हैं। सिंह ने कहा कि हिंडनबर्ग पर कड़ी से कड़ी कारवाई हो क्योंकि उसके बहाने से कुछ लोग देश को बदनाम कर रहे हैं, तथा कुछ लोग देशद्रोही का काम कर रहे हैं।
अर्थव्यवस्था को नुकसान पहुंचाने की कोशिश
राजनीति में भले ही बवाल मचा हो, लेकिन सबसे खास बात ये है कि अदाणी ग्रुप के शेयरों पर हिंडनबर्ग रिसर्च के आरोपों का असर नहीं दिखना यह साबित करता है कि आरोप झूठे हैं। भारत के पूर्व अटॉर्नी जनरल मुकुल रोहतगी ने कहा है कि इस कंपनी का मकसद सिर्फ पैसा बनाना है, इंडियन मार्केट में अस्थिरता क्रिएट किया जाए। ये रिपोर्ट इसलिए आई, ताकि नफाखोरी का खेल चलाया जा सके। इसलिए मेरे हिसाब से इसे तवज्जो नहीं देना चाहिए। इस रिपोर्ट को एक तरह से शेयर मार्केट ने खारिज कर दिया है, क्योंकि मार्केट ये समझ चुका है कि यह एक सोची समझी साजिश का हिस्सा ही है। क्योंकि हिंडनबर्ग कंपनी रेगुलेटर एंटिटी के तहत नहीं आती, मतलब कि यह रजिस्टर्ड कंपनी नहीं है। शेयर बाजार का कहना है कि ऐसे में उसकी किसी रिपोर्ट पर क्यों ध्यान दिया जाना चाहिए। शेयर बाजार के जानकारों का कहना है कि यह भारतीय अर्थव्यवस्था को नुकसान पहुंचाने की कोशिश है, लेकिन बार बार की जा रही ऐसी झूठी कोशिशें सफल नहीं हो सकती।
-आकांक्षा कुमारी